भारत एक लोकतान्त्रिक देश है यहाँ हर आम नागरिक को बोलने और लिखने की आजादी दी गयी है। देश में शासन को सुचारु रूप से चलाने के लिए राज्यों में मुख्यमंत्री अपनी जिम्मेदारियों का निर्वाहन करता है। यदि किसी नागरिक को किसी प्रकार की शिकायत या समस्या होती है, तो वह मुख्यमंत्री को शिकायत पत्र लिख सकता है। यहाँ आप आज के आर्टिकल में जान सकते हैं मुख्यमंत्री को शिकायत पत्र कैसे लिखें ? इसका प्रारूप आपको नीचे आर्टिकल में दिया गया है।
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मुख्यमंत्री को पत्र कैसे लिखे (पत्र का प्रारूप)
09 मार्च 2023
श्री योगी आदित्य नाथ
माननीय मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश
सूचना भवन, पार्क रोड
डिपार्टमेंट ऑफ़ इन्फार्मेशन & पब्लिक रिलेशंस
लखनऊ – 226001विषय – (यहाँ पर आपको अपने पत्र के विषय का शीर्षक लिखना है )
माननीय मुख्यमंत्री जी,
(यहाँ पर आपको अपनी समस्या या शिकायत के विषय में बताना है, और उस कार्यवाही करने का अनुरोध करना चाहिए)धन्यवाद !
भवदीय
नाम (यहाँ पर अपना नाम लिखे)
संगठन या संस्था का नाम (यदि व्यक्ति किसी संगठन से जुड़ा है, तो यहाँ पर उसका उल्लेख करें)
पता (अपना पता डालें)
मोबाइल नंबर (यहाँ पर अपना मोबाइल नंबर या लैंड लाइन नम्बर डाले)
हस्ताक्षर (यहाँ आपको अपने हस्ताक्षर करने हैं)
स्थानआप इस दिए प्रारूप के अनुसार अपने राज्य के मुख्यमंत्री को उनके कार्यालय के पते पर अपनी समस्या या शिकायत के लिए पत्र लिख कर भेज सकते हैं।
शिकायत पत्र कैसे लिखें ?
- जब भी आप मुख्यमंत्री जी को पत्र लिखते हैं, तो उसमें सबसे ऊपर की ओर दिनांक उल्लेख करें।
- दिनांक के नीचे अपने राज्य के मुख्यमंत्री का नाम और उसके बाद अपने राज्य का नाम लिखें।
- अब मुख्यमंत्री कार्यालय का पता और पिन कोड लिखें।
- इसके बाद आपको पत्र विषय लिखना है यानी आपको अपने पत्र का शीर्षक लिखना है।
- विषय के बाद नीचे से आपको ‘माननीय मुख्यमंत्री जी’ से सम्बोधन करना है।
- सम्बोधन के नीचे आपको अपनी समस्या या शिकायत के बारे में संक्षिप्त, स्पष्ट रूप से जानकारी लिखनी होगी।
- आप जिस भी समस्या या शिकायत को लिखें उसे विनम्र और उदार भाव से लिखें।
- अपनी शिकायत को लिखते समय शब्दों का चुनाव सही से करें।
- अपने समस्या या शिकायत को लिख देने के बाद आपको नीचे धन्यवाद लिखना है।
- धन्यवाद के बाद अब आपको भवदीय लिखना है।
- इसके बाद आपको अपना नाम, पद, पता, मोबाइल नंबर को लिखें की जानकारी देनी है और अपने हस्ताक्षर करना है।
यदि आप देश के प्रधानमंत्री से किसी भी प्रकार का सवाल या सुझाव चाहते हैं तो उन्हें आप इस प्रकार से ऑनलाइन या ऑफलाइन माध्यम से पत्र लिख सकते हैं।
CM Ko shikayat Patra Kaise Likhe format
- आप मुख्यमंत्री से अपनी किसी समस्या या शिकायत करना चाहते हैं, तो आप इसके लिए उससे संबंधित विभाग के प्रमुख से भी अपनी शिकायत कर सकते हैं।
- यदि आपके पत्र लिखने के बाद भी आपको कोई उत्तर प्राप्त नहीं हुआ है तो आप कार्यालय प्रमुख या फिर उच्च अधिकारियों से भी इसके लिए संपर्क कर सकते हैं।
- अधिकारी भी यदि आपकी समस्या का निवारण नहीं कर पा रहे हैं तो आप अपनी समस्या या शिकायत को सम्बंधित विभाग के मंत्री या मुख्यमंत्री से कर सकते हैं।
- आप अपनी शिकायत को मुख्यमंत्री तक दो तरीकों से पहुंचा सकते हैं-पहला है पत्र के माध्यम से और दूसरा ईमेल या फैक्स के माध्यम से।
CM को शिकायत पत्र लिखते समय ध्यान देने योग्य बातें
- आप मुख्यमंत्री को किसी भी प्रकार की शिकायत को पत्र पर लिखकर उनके पते पर भेज सकते हैं।
- शिकायत पत्र के मुख्य विषय को संक्षिप्त रखे और शिकायत पत्र में आवश्यक बातों को ही लिखें।
- आप जिस कागज में शिकायत लिख रहे हों वह साफ सुथरा होना के साथ -साथ कहीं से भी कटा फटा नहीं होना चाहिए।
- जब आपको किसी विषय पर शिकायत करनी होती है, तो इसके लिए शिकायत पत्र लिखा जाता है।
- शिकायत पत्र को औपचारिक प्रारूप के अनुसार ही लिखा जाता है।
- आपको ध्यान रखना है, की शिकायत पत्र में आप भाषा की मर्यादा का पालन करें और भाषा में विनम्रता रखें।
UP मुख्यमंत्री को पत्र भेजने का पता
कार्यालय का पता
मा० मुख्यमंत्री
योगी आदित्य नाथ, लोक भवन, लखनऊ, उत्तर प्रदेश, पिन – 226001
आवास का पता
मा० मुख्यमंत्री
योगी आदित्य नाथ, 5, कालिदास मार्ग, लखनऊ, उत्तर प्रदेश पिन – 226001
मुख्यमंत्री को पत्र भेजने का पता MP
कार्यालय का पता
मा० मुख्यमंत्री, मध्य प्रदेश
5 वीं मंजिल, वल्लभ भवन-2, मंत्रालय, अरेरा हिल्स, भोपाल, पिन – 462004
मुख्यमंत्री को शिकायत पत्र से सम्बंधित प्रश्नोतर (FAQs)-
आप जब भी कोई औपचारिक पत्र लिखते हैं तो आपको कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना होता है। पत्र को हमेशा सरल, स्पष्ट और संक्षिप्त भाषा में लिखा जाना चाहिए। आपके लिखे गए पत्र में शब्दों का सही अर्थ प्रकट होना चाहिए।
पत्र लेखन दो प्रकार के होते हैं -औपचारिक पत्र और अनौपचारिक पत्र।
formal letters या औपचारिक पत्र वह होते हैं जो आधिकारिक उद्देश्योंके लिए लिखे जाते हैं जबकि अनौपचारिक (informal) पत्र वह होते हों जो दोस्तों या परिवार या रिश्तेदारों को लिखे जाते हैं।
शिकायत पत्र औपचारिक शैली में लिखा जाता है।