भारतीय कानून के अनुसार ड्राइविंग कर वाले हर व्यक्ति के पास लाइसेंस (DL) होना अनिवार्य है। और यदि आपके पास नहीं है तो आप पर जुर्माना लगाया जाएगा। इसलिए समय रहते हुए जल्द-से-जल्द अपना ड्राइविंग लाइसेंस बना लें कई लोग इस बात से भी डरते है कि दो पहिया/ चार पहिया का लाइसेंस बनवाने के लिए टेस्ट ड्राइव देना पड़ता है। और उसके लिए कई बार RTO ऑफिस जाना पड़ता है।
तो अब आपको परेशान होने की आवश्यकता नहीं है, तो आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बताएंगे कि डीएल टेस्ट के लिए निर्देश और प्रक्रिया क्या-क्या है ?
तो आइये जानते है ड्राइविंग लाइसेंस टेस्ट कितने प्रकार के होते है। आर्टिकल से जुड़ी अन्य जानकारी को प्राप्त करने के लिए हमारे लेख को अंत तक पढ़े।
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ड्राइविंग लाइसेंस क्या है ?
जब किसी नागरिक की उम्र 18 साल हो जाती है, तो उसे किसी भी प्रकार का वाहन चलाने के लिए लाइसेंस की आवश्यकता पड़ती है। ये एक जरूरी दस्तावेज है जो भारत सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त होता है।
ये दस्तावेज इस बात का प्रमाण होता है, कि यह व्यक्ति वाहन चलाने के योग्य है। चाहे वह व्यक्ति Two-wheeler या Four-wheeler गाडी चलाएं सब के पास लाइसेंस होना जरूरी है। अब से कोई भी नागरिक घर बैठे लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आवेदन कर सकते है, यहाँ जानें आसान तरीके कौन-कौन से है।
आवेदन जमा करने के निर्देश
- सबसे पहले नागरिक को सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की ऑफिसियल वेबसाइट पर जाकर आवेदन फॉर्म को प्राप्त करना है या फिर आप अपने नजदीकी RTO ऑफिस में जाकर भी ड्राइविंग लाइसेंस का आवेदन फॉर्म प्राप्त कर सकते है।
- आवेदन फॉर्म में पूछी गई सभी जानकारी को सही से दर्ज करके जरूरी दस्तावेज को अपलोड कर देना है।
- सभी दस्तावेज अपलोड करने के बाद आवेदन शुल्क का भुगतान कर लेना है।
ड्राइविंग लाइसेंस टेस्ट के प्रकार
ड्राइविंग लाइसेंस मूल रूप से दो प्रकार के होते है :-
- लर्नर लाइसेंस – सबसे पहले सभी नागरिकों का लर्नर लाइसेंस बनता है, जो की अस्थायी होता है यानी ये सिर्फ आवेदन करने के 6 महीने तक वैध होता है। उसके बाद इस दस्तावेज की कोई मान्यता नहीं होती है।
- स्थायी लाइसेंस – ये लाइसेंस पूरी तरह से ड्राइविंग सीख लेने के बाद बनता है, जिसे प्राप्त करने के लिए टेस्ट पास करना अनिवार्य है।
यदि आप ड्राइविंग करने में उत्तीर्ण हो चुके है, तो आप स्थाई लाइसेंस प्राप्त करने के योग्य हो चुके है, ये टेस्ट आपकी कुशल क्षमता पर निर्भर करता है। जो की बेहद ही सरल है।
ड्राइविंग टेस्ट देने के लिए आपको अपने जिले के नजदीकी RTO ऑफिस में जाकर या फिर स्लॉट बुक करने केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की ऑफिसियल वेबसाइट पर जाकर अपने समय अनुसार स्लॉट बुक करवा सकते है।
स्लॉट का दिन चयन करने के बाद निर्धारित समय पर परीक्षण के लिए RTO विभाग जाना होगा। परीक्षण होने से पहले कुशलतापूर्वक ड्राइविंग सीख ले और यातायात के नियमों के बारे में जान लें।
ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए आवश्यक दस्तावेज
- वैध लर्निंग लाइसेंस
- मेडिकल प्रमाण पत्र
- निवास प्रमाण पत्र
- आधार कार्ड
- जन्म तिथि
- राशन कार्ड
- मोबाइल नंबर
- 10th की मार्कशीट
- पासपोर्ट साइज फोटो
- हस्ताक्षर
RTO ऑफिस द्वारा आपका ड्राइविंग टेस्ट होने के लिए आपको ऑफिस जाकर 100 रुपए का भुगतान करना होगा। इसके अलावा DL बुक प्राप्त करने के लिए 40 रुपए शुल्क देना होगा।
LMV परीक्षण का क्रम / कार लाइसेंस ट्रैक टेस्ट
ये वो परिक्षण है, जिसके आधार पर गाडी चलाने वाले नागरिक का मूल्यांकन किया जाता है जो कि इस प्रकार से है –
- जब कोई व्यक्ति पहली बार टेस्ट ड्राइव के लिए जाते है, तो उसकी कुशलतापूर्वक गाडी पार्क करने की क्षमता देखी जाती है।
- उसके बाद किसी मैदान में “8 आकार” पर गाडी चलाने की क्षमता का निरिक्षण होता है। ये आकार हर व्यक्ति के लिए अलग-अलग हो सकते है।
- इसके बाद व्यक्ति को ऊपर की ओर ढलान वाली सड़क पर गाडी चलाने की क्षमता देखी जाती है।
- अंत में सड़क पर ‘S’ आकार पर पीछे को ओर गाडी चलाने के क्षमता। ये सभी नियम दो पहिया और चार पहिया परिवहन पर लागू होते है।
वाहन की श्रेणी / कोड के प्रकार
क्र.सं | वाहनों के नाम | वाहन की श्रेणी | कोड | लाइसेंस की श्रेणी |
1. | हल्के मोटर वाहन (मोटर कार,जीप) | हल्के मोटर वाहन जैसे -कार | LMV | गैर परिवहन |
2. | टैक्सी,मैक्सी कैब | LMV ट्रांसपोर्ट PSV(टैक्सी कैब) | LMVCAB | परिवहन |
3. | ऑटो रिक्शा-गैर परिवहन | LMV 3 पहिया गैर परिवहन | 3W-NT | गैर-परिवहन |
4. | ऑटो रिक्शा-परिवहन | LMV 3 पहिया कैब (ऑटो रिक्शा) | 3W-कैब | परिवहन |
5. | तिपहिया माल वाहन(डिलीवरी वैन) | LMV 3 पहिया परिवहन सामान | 3W-GV | परिवहन |
6. | मोटरसाइकिल | बिना गियर वाली मोटर साइकिल | MCWOG | परिवहन |
7. | मोटरसाइकिल | गियर वाली मोटरसाइकिल इंजन क्षमता 50 CC या उससे अधिक | MCEX50CC | परिवहन |
8. | बड़े ट्रक | माल के परिवहन(ट्रेलर,बड़े ट्रक) | HGMV | गैर परिवहन |
9. | छोटे वाहन | इंजन क्षमता 50 CC या उससे कम | MC 50 CC | गैर परिवहन |
दोपहिया वाहन लाइसेंस ट्रैक टेस्ट
यदि आप दोपहिया वाहन का लाइसेंस बनाने के लिए RTO विभाग जा रहे है, तो उससे पहले इन चरणों का पालन करना चाहिए –
- सबसे पहले नागरिक को अपने साथ लर्निंग लाइसेंस ले जाना होगा। याद रखें की ड्राइविंग लाइसेंस टेस्ट शुल्क भुगतान रसीद ले जाना न भूल जाएं।
- अब आपको वहाँ के किसी अधिकारी से अपनी आईडी, एलएल और अन्य दस्तावेजों को सत्यापन करवाना होगा।
- पहचान सत्यापन होने के बाद आपके अंगूठे के द्वारा आपका सत्यापन किया जाएगा।
- योग्य व्यक्ति को परीक्षण क्षेत्र में प्रवेश के लिए प्राधिकरण दस्तावेज दिए जाएंगे।
- परीक्षण ट्रैक में जाने के लिए उम्मीदवार के पास जन्म तिथि, LL जारी करने की तिथि आदि जानकारी शामिल होनी चाहिए। इसके अलावा व्यक्ति को एक अद्वितीय आईडी नंबर और एक RFID कार्ड ले जाना भी जरूरी है।
- अब आपको दोपहिया वाहन से 8 आकार की रेखा पर वाहन चलाना होगा। याद रखें कि निर्धारित समय पुरे होने से पहले आपको अपना पैर ज़मीन पर नहीं रखना होगा।
- यदि आप कुशलतापूर्वक परीक्षण में पास हो जाते है, तो आपको लाइसेंस प्रदान करवाया जाएगा।
ट्रैक टेस्ट में फेल होने पर क्या होगा
यदि आप DL परीक्षण में फेल हो जाते है। आपको चिंता करने की आवश्यकता नहीं है, दुबारा परीक्षा देने के लिए आपको 7 दिन के बाद फिर से RTO ऑफिस जाना होगा। इसके अलावा अपने साथ आवेदन फॉर्म और दस्तावेजों को ले जाना भी जरूरी है। परीक्षा देने से पहले आपको परीक्षण शुल्क का भुगतान करना होगा।
डीएल टेस्ट देने से पहले क्या करें
DL टेस्ट देने के पहले निम्नलिखित बातों को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है जो कि इस प्रकार से है :-
- RTO ऑफिस जाने से पहले उम्मीदवार को अपने पास लर्निंग लाइसेंस, आवेदन पत्र और अन्य प्रासंगिक दस्तावेज रख लेना है।
- यदि आपने ऑनलाइन माध्यम या किसी RTA ऑफिस से स्लॉट बुक किया है तो नए टेस्ट स्लॉट के साथ टेस्ट स्लॉट बुकिंग की स्लिप भी ले जाना अनिवार्य है।
- टेस्ट देने से पहले व्यक्ति को घबराना नहीं है। आत्मविश्वास होकर कुशलता से परीक्षण पूरा करना है, और पास होना। असफल होने का डर कभी अपने मन में नहीं रखना चाहिए।
- ड्राइव टेस्ट के दौरान आपको समय पूरा होने से पहले वाहन को रोकना नहीं है और न ही अपने पैर नीचे रखने है। अधिकारियों के निर्देश पर ही आप वाहन को रोक सकते है।
डीएल टेस्ट देते समय क्या करें या क्या न करें
- सबसे पहले आपको घबराना और डरना नहीं है, चार पहिया वाहन चलाने से पहले सीट बेल्ट लगाएं। और यदि आप दोपहिया वाहन चला रहे है तो हेलमेट लगाना न भूलें।
- आपको निर्धारित समय से पहले कम से कम एक घंटे पहले ड्राइव टेस्ट क्षेत्र में पहुंचना होगा।
- आप जिस वाहन का लाइसेंस बनवाने चाहते है, उस वाहन के साथ आपको उपस्थित होना होगा।
क्या न करें-
- जब तक आप गाडी चलाने में कुशल न हो जायें तब तक परीक्षा ने दें। ऐसा करने से आप असफल भी हो सकते है। और परीक्षण के दौरान कोई दुर्घटना घटित भी हो सकती है।
- अस्वस्थ होने की स्थिति में परीक्षा न दें।
ड्राइविंग लाइसेंस प्राप्त करने में कितना समय लगता है?
यदि आपने ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए ड्राइव टेस्ट पास कर दिया है और RTO ऑफिस द्वारा आपके दस्तावेजों का वेरीफाई पूर्ण हो गया है, तो आपको 7 दिन के अंदर ड्राइविंग लाइसेंस प्राप्त हो जाएगा।
डीएल टेस्ट में पूछे जानें वाले प्रश्नो की तैयारी कहाँ से करें
बहुत सारे लोग ये सोचकर डर जाते है कि डीएल टेस्ट में किस प्रकार के प्रश्न पूछे जाते है, लेकिन अब आपको चिंता करने की आवश्यकता नहीं है। क्योंकि अब आप सड़क परिवहन की ऑफिसियल वेबसाइट पर जाकर पूछे जानें वाले प्रश्नों की तैयारी आसानी से सकते है। इसके अलावा आपको यातायात के नियमों और चिन्हों को भी जानना बेहद जरूरी है जिसका PDF नीचे दर्शाया गया है।
परिवहन विभाग, उत्तराखंड | यहाँ क्लिक करें |
यातायात सुरक्षा के चिन्ह | यहाँ क्लिक करें |
Driving Licence Test से जुड़े सवालों के जवाब-
बिना लाइसेंस के गाडी चलाने पर 5000 से लेकर 10 हजार का जुर्माना लग सकता है।
किसी भी राज्य में ड्राइविंग लाइसेंस प्राप्त करने के लिए उम्मीदवार की आयु 18 वर्ष होनी चाहिए।
निजी ड्राइविंग लाइसेंस जारी होने की तारीख से 20 साल के लिए वैध होता है।
धारा 185 के अनुसार, पहले 2 हजार का जुर्माना था जो की अब बढ़कर 10 हजार रुपए हो गया है।
ट्रैफिक नियम तोड़ने पर 500 रुपए का जुर्माना लगाया जाता है।